आज हम आपको बताने वाले हैं वो कहानियां जो आपके दिलों को दहला देंगी। कहानियां ऐसे ठगों की जिनके नाम आज भी खौफ से लिए जाते हैं। बताने वाला और सुनने वाला दोनों की आश्चर्य और खौफ के समंदर में डुबकियां लगाता रह जाता है।
नटवरलाल- ठगी की दुनिया का सबसे चर्चित चेहरा यानि नटवरलाल। ऐसी शख्सियत का मालिक जो किसी को भी अपने जाल में फंसा सकता हो। उसके बारे में कहा जाता है कि उसने तीन बार ताजमहल, दो बार लालकिले और एक बार राष्ट्रपति भवन को बेच दिया था। कहा तो ये तक जाता है कि एक बार तो उसने भारत के संसद भवन को भी बेच दिया था। उसका असली नाम मिथिलेश कुमार श्रीवास्तव था और वो बिहार के सीवान का रहने वाला था। कहते हैं कि वो इतना शातिर था कि राष्ट्रपति के फर्जी हस्ताक्षर तक कर लेता था। उसके जीवन पर कई किताबें लिखी जा चुकी हैं तो कई फिल्में भी बन चुकी हैं।
चार्ल्स शोभराज- दुनिया के सबसे खतरनाक ठगों में नाम शुमार है चार्ल्स शोभराज का। उसे बिकिनी किलर भी कहा जाता है। हाल ही में उसके जीवन पर बनी फिल्म भी रिलीज़ हुई थी। उसके जीवन पर भी कई लेख, खबरें और किताबें लिखी जा चुकी हैं। 72 साल का शोभराज इस वक्त नेपाल की जेल में बंद है। कई लोगों ने उसके जीवन पर डॉक्यूमेंट्री भी बनाई है। कहते तो ये भी हैं कि वो लड़कियों का शिकारी था और बेहद खतरनाक सीरियल किलर था जिसके कारण उसे बिकिनी किलर भी कहा गया। बीबीसी की एक रिपोर्ट के मुताबिक 1970 के दशक में उस पर पूरे एशिया भर में 20 हत्याओं का आरोप लगा।
ठग बहराम- बहराम एक निर्मम हत्यारा था। माना जाता है कि उस अकेले ने 900 से अधिक लोगों की हत्याएं की थीं। 1765 में पैदा हुए इस हत्यारे को 1840 में फांसी की सजा दी गई। वह अपने पीले रुमाल के कारण जाना जाता था। वह इस पीले रुमाल से ही गला दबाकर हत्या को अंजाम देता था। उसके गिरोह में करीब 200 सदस्य थे जो पूरे के पूरे काफिले को मार डालते थे और लूट लेते थे। उसका नाम गिनीज़ बुक में भी दर्ज है। अंग्रेज अधिकारियों के लिए बहराम एक सिरदर्द बन गया था और 10 सालों तक अंग्रेज उसे पकड़ने के लिए हर संभव तरीके आजमाते रहे।
Be the first to comment on "भारत के इन 3 ठगों की कहानी जानकर दांतों तले दबा लेंगे उंगलियां"